
कोरोना के बीच मच्छर जनित बीमारियां फैलने का खतरा है। गर्मी के सीजन में मलेरिया और बारिश के बाद डेंगू बीमारी के पैर पसारने की संभावना है। मलेरिया-डेंगू न फैले इसलिए घर-घर मास फीवर सर्वे शुरू हो चुका है। एंटी लार्वा एक्टिविटी भी शुरू कर दी गई है। घरों में जाकर ब्लड स्लाइड्स भी बनाई जा रही है।
गांव-गांव जाकर स्वास्थ्य विभाग की टीम एंटी लार्वा एक्टिविटी, बुखार के संदिग्ध मरीजों की पहचान करके उनके ब्लड सैंपल एकत्र कर रही है। खरकभूरा, पालवां, अलीपुरा, करसिंधु गांव में टीमों द्वारा जांच की जा रही है। इन गांवों में 78 लोगों के रक्त नमूने लेकर जांच के लिए नागरिक अस्पताल भेजे गए हैं। सुपरवाइजर भीम सिंह ने कहा कि सिविल सर्जन जींद के आदेशानुसार सीएचसी उचाना के सभी गांवों में हेल्थ टीमें घर-घर जाकर एंटी लार्वा एक्टिविटी और बुखार के संदिग्धों की पहचान के लिए ब्लड सैंपल ले रही है। ग्रामीणों को टीम घर-घर जाकर लोगों को पानी एकत्र न होने देने, कूलरों, पानी की टंकी की सफाई सप्ताह में एक बार जरूर करें, रुके हुए पानी पर मिट्टी डालने के साथ-साथ मच्छरों से बचाव के तरीके बता रही है। इस तरह की सावधानी करके ग्रामीण खुद को मलेरिया, डेंगू, चिकनगुनिया आदि वेक्टर जनित बीमारियों से बचा सकते हैं। सनोज कुमार, विक्रम सिंह, बलजीत सिंह, सुरेश कुमार की टीम गांव खरकभूरा में 15, पालवां में 12, अलीपुरा में 33, करसिंधु में 18 लोगों के रक्त नमूने लिए।
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