निगम में शामिल 13 गांवों के 18 हजार प्रॉपर्टी टैक्स दाता विरोध में उतरे, पंचायत में प्रतिनिधि बोले- टैक्स फ्री के लिए करेंगे आंदोलन

नगर निगम में शामिल 13 गांवों के करीब 18 हजार प्रॉपर्टी टैक्स दाता टैक्स देने के विरोध में उतर गए हैं, चाहे वह लाल डाेरे के भीतर की सीमा हो या फिर बाहर। ग्रामीणों ने रविवार को यहां गांव रायपुर में 13 गांवों की महापंचायत में घोषणा की है कि वे प्रॉपर्टी टैक्स नहीं भरेंगे। इसके लिए चाहे तो उन्हें ट्रैक्टर ट्रालियों के साथ शहर में किसी स्तर पर प्रदर्शन ही क्यों ना करना पड़ जाए। निगम के प्रॉपर्टी टैक्स कलेक्शन टारगेट को इससे झटका लगेगा। पांच महीने में निगम शहर में अब तक महज साढ़े छह करोड़ ही टैक्स ही वसूल कर सका है जबकि लक्ष्य 15 करोड़ है।
निगम क्षेत्र में करीब एक लाख 46 हजार प्रॉपर्टी है, लेकिन टैक्स वसूली अब तक महज 41 हजार से हो सकी है। इस पर अब करीब 18 हजार प्रॉपर्टी जो 13 गांवों में थी, वे भी टैक्स भरने को तैयार नहीं है। नगर निगम की ओर से गढ़ शहजानपुर, फाजिलपुर, रायपुर, रेवली, लीवान, जाट जोशी, जगदीशपुर, राठधना, शाहपुर तुर्क,लहराडा, कैलाशपुर, देवडू, राई, कालुपुर, जठेड़ी आदि गांवों में करीब 65 लाख रुपए के बिल भेजे गए थे।
निगम प्रशासन से बातचीत के लिए कमेटी गठित
महापंचायत का संचालन करते हुए गांव रायपुर के देवेन्द्र गौतम ने बताया कि इस मामले में नगर निगम प्रशासन से बातचीत के लिए कार्यकारी कमेटी का गठन किया गया जिसमें राठधाना से कर्मबीर सरोहा,रायपुर से देवेन्द्र गौतम, लिवान से रामसिंह प्रधान, रेवली से कृष्ण प्रधान, जठेड़ी से सुरेन्द्र सिंह प्रधान, देवड़ू से धनपत सिंह, फ़ाज़िल्पुर से राजकुमार राणा, जाहरी गड़ी से पंडित ब्रह्मदत्त, राई से बालकिशन कौशिक, गढ़शहजानपूर से रोहताश राणा, जाटजोशी से जयवीर हुड्डा, कालूपुर से महासिंह नम्बरदार को शामिल किया।
निगम ने की वादा खिलाफी
राठधना के कर्मबीर सरोहा ने कहा कि ग्रामीण निगम में इसी शर्त पर शामिल हुए थे कि यह भरोसा दिलाया गया था कि निगम में कभी भी कोई टैक्स लागू नहीं होगा, इसकी हामी वर्ष 2018 में नगर निगम सोनीपत के खिलाफ 26 गांवो का लगातार 52 दिन तक महाराजा अग्रसेन चौक पर धरने को खत्म कराने के लिए 2 जून 2018 सांसद, विधायक एवं डीसी की मौजूदगी में भरी गई थी। जिसमें सरकार के साथ समझौता हुआ था कि लालडोरे के अंदर और बाहर किसी भी प्रकार का कोई टैक्स नही आएगा।
विकास के नाम पर अनदेखी
महापंचायत की अध्यक्षता करते हुए प्रेमराज ने खुलकर कहा कि विकास के मामले में लगातार इन गांवों की अनदेखी की जा रही है, करोड़ों रुपए का राजस्व पूर्व में ही देने के बावजूद अब तक इन गांवों में कोई सुविधाएं नहीं है। जब गांव को निगम में शामिल किया गया तो गांव का बकाया फंड व ज़मीन को भी नगर निगम द्वारा अपने नियंत्रण में लिया था।
करवाए जा रहा विकास
प्रॉपर्टी टैक्स से मिलने वाली राशि का उपयोग भी विकास कार्यों के लिए ही किया जाता है। वैसे भी नगर निगम ने लाल डोरे से भीतर 31 मार्च 2019 का तो माफ भी कर दिया है। यही यही राज्य सरकार का अब तक नोटिफिकेशन है। जगदीश शर्मा, आयुक्त नगर निगम, सोनीपत।
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